
उपभोक्ता ऋण में वृद्धि: भारत में नया भुगतान रुझान
भारत में उपभोक्ता ऋण में वृद्धि हो रही है, जो डिजिटल भुगतान, विशेषकर UPI, पर बढ़ती निर्भरता से प्रेरित है। UPI कुल लेन-देन का 65% है। जबकि UPI रोजमर्रा की खरीददारी के लिए लोकप्रिय है, क्रेडिट कार्ड और EMI बड़े खर्चों जैसे शिक्षा और स्वास्थ्य सेवा के लिए पसंदीदा बनते जा रहे हैं। त्योहारों और स्कूल में दाखिले के समय में क्रेडिट उपयोग में वृद्धि होती है, यह दर्शाता है कि कई उपभोक्ता उच्च खर्च के समय में अल्पकालिक ऋण के लिए विकल्प चुनते हैं। यह बदलाव वित्तीय आदतों में एक परिवर्तन को दर्शाता है, जहाँ लोग अब upfront भुगतान करने के बजाय लचीले भुगतान विकल्पों के माध्यम से अपने खर्चों का प्रबंधन करने में अधिक सहज हैं।