महली मिस्त्री को टाटा ट्रस्ट्स से हटा दिया गया है, जिसका निर्णय बहुमत से लिया गया। यह कदम ट्रस्टियों के बीच बढ़ती विभाजन को दर्शाता है, खासकर मिस्त्री के समर्थकों और नोएल टाटा के पक्षधर समूहों के बीच। मिस्त्री का जाना टाटा समूह के लिए एक महत्वपूर्ण क्षण है, क्योंकि वह रतन टाटा का करीबी अनुयायी था। यह शक्ति संघर्ष इन दान संस्थानों के भीतर गहरे मुद्दों को उजागर करता है, जो भारत के सबसे सम्मानित संगठनों में से एक की नेतृत्व और प्रशासन पर सवाल उठाता है।